यु तो ज़िन्दगी में कोई कमी नहीं.......
कमी है तो सिर्फ तुम्हारी ......
क्यों नहीं तुम मेरी ज़न्दगी में ....
यु तो ज़िन्दगी में कोई गम नहीं .......
गम है तो सिर्फ तुम्हारा ना होना .....
क्यों नहीं हो तुम मेरे आपने .......
यु तो ज़िन्दगी से कोई शिकवा नहीं ......
शिकवा है तो सिर्फ तुम से .......
क्यों नहीं समझते तुम दिल की बात ....
यु तो ज़न्दगी से कोई शिकायत नहीं ....
शिकायत है तो सिर्फ तुम से ....
क्यों नहीं कहते तुम आपने दिल कि बात ...
यु तो ज़न्दगी में कोई चाहत नहीं ....
चाहत है तो सिर्फ तुम से ....
क्यों नहीं हु मै तुम्हारी चाहत .....
श्रुति मेहेंदले 7th अगस्त 2009
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